उत्तरकाशी,प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की स्वच्छता और गंगा की निर्मलता की परिकल्पना को चीन सीमा से लगे उत्तरकाशी जिले के बगोरी गांव ने साकार किया है। लेकिन, यह संभव हो पाया गांव के निवर्तमान प्रधान भवान सिंह राणा की कर्तव्यनिष्ठा की बदौलत। इसी की परिणति है कि इस गांव को सबसे अच्छे गंगा ग्राम का सम्मान मिला। शुक्रवार को दिल्ली में यह सम्मान प्रदान करते हुए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने बगोरी के हर ग्रामीण को स्वच्छता का चैंपियन करार दिया।
जिला मुख्यालय उत्तरकाशी से 80 किमी दूर भागीरथी (गंगा) नदी के किनारे बसा है बगोरी गांव। यहां जाड़-भोटिया जनजाति के 250 परिवार निवास करते हैं। हर्षिल से डेढ़ किमी की दूरी पर स्थित इस गांव को जाने वाले रास्ते से ही स्वच्छता की झलक स्पष्ट नजर आने लगती है। इस साफ-सुथरे रास्ते से होकर जैसे ही हम गांव के करीब पहुंचते हैं, सबसे पहले पर्यटकों और अतिथियों के लिए बना सार्वजनिक शौचालय नजर आता है। जबकि, गांव में प्रवेश करते ही चौड़े पत्थरों से बने रास्ते और जल निकासी के लिए बनाई गई नालियां दिखाई देती हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छ भारत मिशन के तहत
गांव में मकानों की फेहरिस्त शुरू होते ही हर घर का शौचालय दिख जाता है। इन शौचालयों के दरवाजे पर संबंधित परिवार के मुखियाओं के नाम अंकित हैं। इससे आसानी पता चल जाता है कि कौन-सा घर किसका है। चीन सीमा से लगे बगोरी गांव में यह बदलाव वर्ष 2014 के बाद तब आया, जब ग्रामीणों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छ भारत मिशन के तहत ‘देवालय से पहले शौचालय’ और ‘स्वच्छ और निर्मल गंगा’ की परिकल्पना को साकार करना शुरू किया। इस मिशन को गति दी तत्कालीन ग्राम प्रधान भवान सिंह राणा ने। राणा बताते हैं कि गांव को स्वच्छ बनाने में हर ग्रामीण ने योगदान दिया। आज गांव के सभी 250 परिवारों के पास अपना शौचालय है। इन शौचालयों में पानी की भी व्यवस्था है।
बताया कि 40 फीसद शौचालयों के निर्माण में स्वजल परियोजना ने ग्रामीणों का सहयोग किया। जबकि, उनकी मांग पर पर्यटन विभाग ने न केवल गांव में हर घर तक पठालों (पहाड़ी पत्थर) से रास्ता बनाया, बल्कि नालियों का निर्माण भी किया गया। राणा कहते हैं कि भागीरथी नदी के किनारे बसे बगोरी को स्वच्छता की बदौलत फरवरी 2018 में उत्तरकाशी जिले का पहला ‘गंगा ग्राम’ घोषित किया गया। अब इस गांव को जल शक्ति मंत्रालय की ओर से सबसे अच्छे गंगा ग्राम का खिताब दिया गया है।
जैविक-अजैविक कूड़ा अलग-अलग
निवर्तमान प्रधान भवान सिंह राणा बताते हैं कि गांव के निकट ही ग्रामीणों ने कूड़ा निस्तारण केंद्र भी बनाया है। इसमें ग्रामीण घरों से निकलने वाले जैविक-अजैविक कूड़े को अलग-अलग डालते हैं।
प्रधानमंत्री भी दे चुके बधाई
सात नवंबर 2018 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बगोरी गांव स्थित सेना के कैंप में दीपावली मनाने आए थे। तब बगोरी में सेना के हेलीपैड से दूर खड़े ग्रामीणों को पास बुलाकर पीएम ने उनका हालचाल भी जाना। ग्रामीणों ने उन्हें जब ‘गंगा ग्राम’ बगोरी की स्वच्छता के बारे में बताया तो पीएम काफी खुश हुए। इसके लिए उन्होंने ग्रामीणों को बधाई दी।