उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग जिले में आजकल जगह-जगह फिल्म के पोस्टर देखने को मिल रहे । वैसे जिले में लॉक डाउन के चलते सिनेमा हॉल बंद है ऐसे में ये पोस्टर क्यों दिखाई दे रहे हैं?, सोचने वाली बात है, तो चलिए आपका ज्यादा वक्त नहीं लेते हुए बता देते है की इसके पीछे रुद्रप्रयाग वन विभाग का हाथ है दरअसल, जंगल में लगने वाली आग के प्रति लोगो में जगरुकता के लिए रुद्रप्रयाग वन विभाग ने ‘बॉलीवुड डायलाग’ का सहारा लिया है ।
रुद्रप्रयाग के जंगलो में हर साल मई और जून के महीने में आग लग जाती है जिसके कारण वन संपदा का तो नुकसान होता ही है साथ ही विभाग की आर्थिक हानि भी होती है उत्तराखंड वन विभाग की ओर से कई बार इसे रोकने की कोशिश की गई लेकिन अभी तक उन्हें इस पर कोई सफलता हासिल नहीं हो पाई है । लेकिन इस बीच रुद्रप्रयाग वन विभाग ने इसे रोकने के लिए एक नई तरकीब निकाल ली है ‘फिल्मी डायलॉग’ से विभाग ने जंगल में लगने वाली आग को रोकने की राणनिति बनाई है बकायदा इस पर पायलट प्रोजेक्ट भी शुरू कर दिया है विभाग के इस पायलट प्रोजेक्ट का मकसद स्थानीय लोगो को जंगल में लगने वाली आग पर जागरूक करना है. ।
लोगो को जागरूक कराने वाली इस पहल का श्रेय रुद्रप्रयाग वन विभाग के एक अधिकारी को जाता है। जिनका नाम डीएफओ वैभव कुमार है । वैभव कुमार बताते है की जगलो में लगी आग और इस पर सजा के क्या प्रावधान है इस पर लोगो को जागरूक करने के लिए ‘बॉलीवुड के डायलॉग’ का इस्तेमाल करना पड़ा उनका कहना है कि उन्होंने फिल्मो के दृश्यों के 15 से अधिक पोस्टर गांव और कस्बों के सावर्जनिक जगहों में पाट दिए है इनमे से एक ऐसा ही पोस्टर गब्बर सिंह का है जो सुपरहिट फिल्म शोले के डायलॉग के साथ है “अरे ओ सांभा! जंगल में आग लगने पर सरकार कितना जुर्माना रखे हैं सरदार पूरे पाँच 5 हज़ार और 2 साल की जेल भी” ऐसे कई पोस्टर समाने आये है जो अब लोगो हर पल उनकी जिम्मेदारी का अहसास कराते है.वैभव कुमार कहते है अक्सर कई बार लोग जगलो में आग लगा देते है।जब पकडे जाते है तो बोलते है उन्हें पता नहीं था जंगल में आग लगाना जुर्म है.अब जब सब लोग इसके माध्यम से जागरूक होगें तो जंगलो में आग लगना कम हो जायेगा ।